अगरतला: उपराष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू ने बुधवार को कहा कि जीएसटी और नोटबंदी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा उठाए गए क्रांतिकारी कदम हैं। उन्होंने कहा कि कई विदेशी संस्थान भारत के विकास की सराहना करते हैं।
नायडू ने यहां त्रिपुरा विश्वविद्यालय में अपने दीक्षांत भाषण में कहा, “जीएसटी और नोटबंदी प्रधानमंत्री द्वारा उठाए गए क्रांतिकारी कदम हैं। अप्रैल में जीएसटी राजस्व 1.4 लाख करोड़ रुपये से ऊपर रहा, जिससे नई कर व्यवस्था को लेकर ऊंची आशा के संकेत मिले हैं।”
उन्होंने कहा, “इस तरह के सुधारों के कारण भारत की विकास दर 2022 में लगभग नौ प्रतिशत अनुमानित है। अब एलपीजी (उदारीकरण, निजीकरण, और वैश्वीकरण) का युग है। हमारे प्रधानमंत्री का मंत्र है सुधार, प्रदर्शन और रूपांतरण।”
वेंकैया ने विद्यार्थियों से अपनी मातृभाषा को सीखने और उसे बढ़ावा देने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि यदि वे विदेश जाना चाहते हैं तो उन्हें वे वहां जरूर पढ़ाई करें, लेकिन भारत वापस आकर यहां के मानव संसाधन को समृद्ध करें।
उन्होंने कहा, “उच्च शिक्षा या अन्य किसी उद्देश्य के लिए अंग्रेजी आवश्यक नहीं है। अपनी मां, मातृभाषा और मातृभूमि का आदर कीजिए। अंग्रेजों ने हमारे दिमाग को धोखा दिया है। कई देशों के लोग अंग्रेजी नहीं बोलते। आप अंग्रेजी सीख सकते हैं, लेकिन अपनी मातृभाषा की कीमत पर नहीं।”
त्रिपुरा विश्वविद्यालय का 11वां दीक्षांत समारोह पांच वर्षो बाद आयोजित हुआ है। कुल 142 विद्यार्थियों को पीएच.डी. डिग्री और कई पाठ्यक्रमों के लगभग 400 विद्यार्थियों को स्वर्णपदक और रजत पदक प्रदान किए गए।
–आईएएनएस
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