लखनऊ(आईएएनएस)। विपक्ष के इंडिया गठबंधन में शामिल समाजवादी पार्टी को शुक्रवार को जश्न मनाने का मौका मिल गया। घोसी उपचुनाव में भाजपा के दारा सिंह चौहान से सीधे मुकाबले में जीत हासिल कर सपा ने घोसी विधानसभा सीट बरकरार रखी।
सपा की जीत महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह उपचुनाव उत्तर प्रदेश में एनडीए और इंडिया के बीच पहला इत्मिहान था।
भाजपा के पूर्व मंत्री चौहान 2022 में विधानसभा चुनाव की पूर्व संध्या पर सपा में शामिल हुए थे और उन्होंने अपनी घोसी सीट वापस जीत ली थी। इसके बाद उन्होंने इस साल जुलाई में सपा छोड़ दी और उपचुनाव में अपनी सीट वापस जीतने के प्रति आश्वस्त होकर फिर से भाजपा में शामिल हो गए।
भाजपा स्पष्ट रूप से चौहान की जीत को लेकर अति आश्वस्त थी, भले ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सहित उसके पूरे नेतृत्व ने उपचुनावों में जोरदार प्रचार किया था।
हालांकि, तीसरे राउंड से ही सपा प्रत्याशी सुधाकर सिंह ने बढ़त बना ली और हर राउंड की गिनती के साथ अंतर बढ़ता गया। इस उपचुनाव को 2024 के लोकसभा चुनाव के ट्रेलर के रूप में पेश किया गया था।
भाजपा की सहयोगी सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (एसबीएसपी) के नेता ओम प्रकाश राजभर ने दावा किया था कि वह इस उपचुनाव के बाद यादव परिवार को वापस इटावा भेज देंगे। हालांकि, यह चौहान की “अविश्वसनीय दलबदलू” की छवि थी जो उनके खिलाफ गई और मतदाताओं ने सुधाकर सिंह को चुना, जिन्होंने इस बार अपना दूसरा चुनाव जीता।
सपा नेता शिवपाल सिंह ने घोसी में जीत के लिए अपने पार्टी कार्यकर्ताओं को बधाई दी और कहा, “यह भाजपा के अंत की शुरुआत है।”
और भी हैं
केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान और अमिताभ कांत आईएएस सज्जन यादव की नई किताब ‘स्केलिंग माउंट यूपीएससी, युवा आईएएस अधिकारियों की प्रेरक कहानियां’ का विमोचन
आतंकवाद और उसके ‘मूल’ के खिलाफ होनी चाहिए निर्णायक लड़ाई : उमर अब्दुल्ला
पूर्वोत्तर राज्यों के साथ क्षेत्रीय विद्युत सम्मेलन