वाशिंगटन| तख्तियों के साथ नारे लगाते हुए, हजारों प्रदर्शनकारियों ने वाशिंगटन डीसी में मार्च निकाला। इसे अमेरिकी राजधानी में नस्लीय अन्याय और पुलिस की बर्बरता के खिलाफ सबसे बड़ा प्रदर्शन माना जा रहा है। समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के मुताबिक, आठ दिनों तक विरोध प्रदर्शन के बाद देश भर के लोग शनिवार को नए सिरे से राजधानी के आसपास के स्थानों जैसे कि अलिर्ंग्टन, वर्जीनिया में इकट्ठा हुए।
ये सब लिंकन मेमोरियल, कैपिटल हिल और व्हाइट हाउस जैसे गंतव्यों के लिए बढ रहे थे। इस दौरान उन्होंने नारे लगाते हुए सुना गया। एक समूह में प्रदर्शनकारी नारे लगा रहे थे, “किसकी सड़कें? हमारी सड़कें।”
डी.सी. पुलिस ने सुबह 6 बजे से शुरू होने वाले शहर के अधिकांश यातायात क्षेत्र को बंद कर दिया।
रात 12 बजे तक डीसी पुलिस ट्रैफिक ने अनुमान लगाया कि वहां लगभग 6000 प्रदर्शनकारी थे, जिनमें करीब 3000 लिंकन मेमोरियल में और लगभग इतने ही 16 वीं और आई स्ट्रीट में थे।
डी.सी. मेयर मुरील बोउसर ने शुक्रवार को राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प से प्रदर्शनकारियों के खिलाफ शहर में तैनात सैन्य बलों को वापस लेने का आग्रह किया था, उन्होंने व्हाइट हाउस के पास भीड़ का अभिवादन किया। उन्होंने व्हाइट हाउस को “लोगों का घर” कहा साथ ही कहा कि आज वह “हमारे शहर से सेना को दूर कर देंगी”।
डी.सी. में शनिवार को विरोध प्रदर्शन शांति से हुआ। यह प्रदर्शन 25 मई को मिनियापोलिस में अश्वेत व्यक्ति जॉर्ज फ्लॉयड की क्रूर हत्या के विरोध में हो रहे हैं।
–आईएएनएस
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