नई दिल्ली| महिला और बाल विकास मंत्री मेनका गांधी ने मंगलवार को तीन तलाक पर सर्वोच्च न्यायालय के फैसले की सराहना करते हुए कहा कि यह ‘महिलाओं के लिए एक बड़ा कदम है।’
मेनका ने समाचार चैनल सीएनएन-न्यूज 18 से बातचीत में कहा, “मैं बेहद खुश हूं। यह अदालत के लिए एक छोटा सा कदम है, लेकिन महिलाओं के लिए यह एक बड़ा कदम है। यह समय है, जब महिलाओं को समानता का अधिकार दिया जाना चाहिए।”
मेनका ने कहा कि किसी भी महिला के लिए तलाक एक भयावह बात होती है।
उन्होंने कहा, “यह सोचना कि उसे बाहर फेंक दिया जा सकता है या छोड़ दिया जा सकता है, सही नहीं है।”
मंत्री ने कहा, “इसलिए यह (आदेश) महिला को उतना बराबरी का हक देता है, जो उसे संविधान के तहत मिला हुआ है। हर धर्म समानता की बात करता है। यह एक प्रगतिशील कदम है।”
इससे पहले सर्वोच्च न्यायालय ने मंगलवार को दो के मुकाबले तीन मतों के अपने फैसले में तीन तलाक को ‘असंवैधानिक’ और ‘मनमाना’ मानते हुए और ‘इस्लाम का हिस्सा न मानते हुए’ इस प्रथा पर रोक लगा दी।
पांच न्यायाधीशों वाली संविधान पीठ ने सरकार को इस मामले में कानून बनाने को भी कहा।
मेनका ने कानून बनाने के निर्देश पर कहा, “प्रधानमंत्री महिलाओं की सुरक्षा के लिए बेहद चिंतित हैं। हम इस पर विचार करेंगे।”
–आईएएनएस
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