इंद्र वशिष्ठ
दो अलग-अलग मामलों में दिल्ली पुलिस के एक एसीपी और एसएचओ समेत तीन पुलिस अफसरों को निलंबित किया गया है।
नरेला थाने मेंं 65 साल के बुजुर्ग को अवैध रुप से हिरासत में रखने का मामला सामने आया है। धोखाधड़ी के मामले मेंं इस बुजुर्ग को कई दिनों तक नरेला थाने में गैरकानूनी रुप से बंधक बना कर रखा गया। इस मामले में नरेला थाने के एसएचओ विनय कुमार और एएसआई दलीप को निलंबित कर दिया गया है। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि खुद को ‘दिल की पुलिस’ कहने वाली पुलिस वरिष्ठ नागरिकों पर भी कितने जुल्म करती है।
अदालत में गुहार लगाई-
बुजुर्ग के बेटे ने अदालत में बंदी प्रत्यीकरण याचिका दायर की थी। जिसके बाद पुलिस ने बुजुर्ग को अदालत में पेश किया। पुलिस ने अदालत में कहा कि बुजुर्ग को धोखाधड़ी के मामले में पूछताछ के लिए बुलाया गया था और पूछताछ के बाद छोड़ दिया गया था। लेकिन बुजुर्ग ने अदालत को बताया कि उसे तीन- चार दिन से थाने में गैरकानूनी तरीक़े से रखा गया था उसे पुलिस ने छोड़ा नहीं था। इस पर अदालत ने पुलिस कमिश्नर को पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई करने का आदेश दिया। कल एसएचओ विनय कुमार और एएसआई दलीप को निलंबित कर दिया गया। दोनों को जिला पुलिस लाइन में भेज दिया गया है।
लेन देन पर विवाद-
सुमन कपूर और कृष्ण कुमार खत्री(65) के बीच पैसे के लेन देन को लेकर विवाद चल रहा है। दोनों ने रोहिणी अदालत में दीवानी मामले भी दायर किया हुए है। सुमन ने 10 अगस्त 2020 को नरेला थाने में शिकायत दी थी।
कृष्ण के बेटे पवन ने 18 फरवरी को दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दायर की। जिसमें कहा कि उसके पिता कृष्ण को 17 फरवरी को नरेला थाने का ए एस आई दलीप बुला कर ले गया था। उसके पिता को अवैध रुप से थाने मेंं रखा हुआ है।
अदालत ने एस एच ओ का झूठ पकड़ा-
हाईकोर्ट में जस्टिस सिद्धार्थ मृदुल और अनूप जय राम भमबानी की बेंच ने मामले की सुनवाई की। अदालत में वीडियो कॉफ्रेंस के माध्यम से हुई सुनवाई में एस एच ओ विनय कुमार ने कहा कि कृष्ण को बुलाया गया था लेकिन फिर छोड़ दिया था। अदालत ने कहा कि कृष्ण अब कहांं पर है। इस पर विनय कुमार ने कहा कि आज सुबह कृष्ण को दोबारा बुलाया गया था। वह थाने में ही है। अदालत ने कृष्ण को पेश करने को कहा।
कृष्ण कुमार ने अदालत को बताया कि उसे तो तीन दिन से थाने में ही रखा हुआ है। उसे पुलिस ने छोड़ा ही नहीं था। कृष्ण कुमार के बयान से एस एच ओ विनय कुमार के झूठ की पोल खुल गई।
इस पर अदालत ने कमिश्नर को इस मामले में कार्रवाई करके हाईकोर्ट में रिपोर्ट देने का आदेश दिए।
बलात्कार का आरोपी एसीपी निलंबित-
दूसरी ओर दिल्ली के एसीपी रमेश कुमार दहिया को रिटायरमेंट से तीन दिन पहले निलंबित कर दिया गया है। रमेश दहिया के खिलाफ 18 सितंबर 2018 में एक महिला ने शिकायत दर्ज कराई थी। महिला ने आरोप लगाया कि रमेश दहिया साल 2017 में जब सदर बाजार थाने का एस एच ओ था तब वह उसके संपर्क में आया था। साल 2017 में महिला के पति की मौत के बाद रमेश दहिया उसके घर ज्यादा आने लगा। महिला का आरोप है कि एक दिन रमेश दहिया ने चाय में नींद की गोली पिला कर उसके साथ बलात्कार किया।रमेश ने उसकी वीडियो भी बनाई जिसके आधार पर वह उसे ब्लैकमेल करता था। इस दौरान महिला गर्भवती हो गई।साल 2018 में उसने एक बच्चे को जन्म दिया। महिला के अनुसार वह लगातार रमेश को शादी करने के लिए कह रही थी। महिला ने यह भी आरोप लगाया कि उसकी गैरमौजूदगी में रमेश ने उसकी नबालिग लड़की से भी छेड़छाड़ की थी। रमेश और उसके जानकर 6 जुलाई 2018 में बच्चे को ले गए। महिला का पति इलाके का बदमाश था।
बलात्कार का मामला दर्ज-
पुलिस ने 19 सितंबर 2018 को बलात्कार,अपहरण, धमकी देने और पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज किया। जिस समय मामला दर्ज किया गया तब एसीपी रमेश दहिया सिक्योरिटी विभाग में तैनात था। इस मामले की जांच अपराध शाखा ने की और अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया जा चुका है। इस मामले में रमेश दहिया का दोस्त एसीपी दिनेश शर्मा और सब-इंस्पेक्टर प्रकाश भी साजिश में शामिल होने के आरोपी हैं।
रिटायरमेंट से 3 दिन पहले निलंबित-
दिल्ली के मुख्य सचिव विजय देव ने 28 जनवरी 2021को दिल्ली सशस्त्र पुलिस की प्रथम बटालियन मेंं तैनात एसीपी रमेश दहिया को तत्काल निलंबित करने का आदेश जारी कर दिए।
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