हमजा अमीर
कराची| पाकिस्तान में एक पुलिस महानिरीक्षक (आईजीपी) को कथित तौर पर अगवा कर पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के दामाद और पीएमएल (एन) की उपाध्यक्ष मरियम नवाज शरीफ के पति के खिलाफ कार्रवाई करने का दबाव बनाए जाने के बाद देश में एक गंभीर विवाद पैदा हो गया है।
मरियम के पति कैप्टन (सेवानिवृत्त) सफदर अवान को गिरफ्तार करना इमरान सरकार और पाकिस्तानी सेना के लिए भारी पड़ गया है। अवान को कराची में देश के संस्थापक मुहम्मद अली जिन्ना के मकबरे पर नारे लगाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।
इस तरह की अफवाहें देश में जंगल की आग की तरह फैल रही हैं कि आईजीपी मुश्ताक महर को खुफिया एजेंसी के अधिकारियों की ओर से कथित तौर पर उनके घर से अपहरण कर लिया गया था और उन्हें सफदर अवान की गिरफ्तारी का आदेश दिया गया था।
इस घटना ने पुलिस रैंकों में गुस्सा पैदा कर दिया है। सिंध पुलिस प्रमुख को कथित तौर पर अगवा किए जाने के बाद कराची में एक दर्जन से अधिक पुलिस अधिकारियों ने एक महीने तक सामूहिक अवकाश पर जाने की चेतावनी दी है।
सिंध प्रांत के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों की ओर से अचानक छुट्टी के अनुरोध के बाद, मुख्यमंत्री सैयद मुराद अली शाह ने हर स्तर पर सिंध पुलिस को सरकार के समर्थन का आश्वासन दिया है।
शाह ने प्रांतीय पुलिस के शीर्ष अधिकारियों को आश्वासन दिया कि सरकार किसी भी हालत में बल को ध्वस्त नहीं होने देगी।
मुख्यमंत्री ने कहा, “सिंध पुलिस को स्वतंत्र और निष्पक्ष तरीके से अपना काम जारी रखना चाहिए। सरकार पुलिस के पेशे को और मजबूत करने के लिए कदम उठा रही है।”
इस बीच, पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के प्रमुख बिलावल भुट्टो-जरदारी ने एक ट्वीट करते हुए इस घटनाक्रम पर सेना और पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई से सफदर की गिरफ्तारी को लेकर सवाल पूछा, जिसके बाद पाकिस्तान सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा ने सफदर अवान की गिरफ्तारी की जांच के आदेश दिए।
बिलावल भुट्टो ने पहले सफदर अवान की गिरफ्तारी से कुछ समय पहले सुबह चार बजे सिंध आईजीपी महर के घर के आसपास मंडराने वाले लोगों की पहचान की मांग की थी।
बाजवा ने घटनाक्रम की जांच का आदेश देने के साथ ही पीपीपी के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो से भी बात की और आंतरिक जांच के बाद सामने आने वाले दोषियों के खिलाफ कार्रवाई का आश्वासन दिया।
अखबार डॉन की खबर के मुताबिक, पीएमएल (एन) नेता और सिंध के साबिक गवर्नर मुहम्मद जुबैर की ओर से एक कथित ऑडियो संदेश एक पत्रकार द्वारा साझा किया गया है। इसमें जुबैर ने आरोप लगाया कि सिंध के पुलिस महानिरीक्षक मुश्ताक का अपहरण कर लिया गया है और उन पर मरियम, उनके पति सफदर और 200 अन्य लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने का दबाव डाला गया था। पुलिस प्रमुख पर मोहम्मद अली जिन्ना के मकबरे की पवित्रता के कथित उल्लंघन के लिए यह कार्रवाई करने का दबाव डाला गया।
सफदर की गिरफ्तारी से उत्पन्न तनाव के कारण सिंध के पुलिस अधिकारियों की ओर से आईजीपी महर को दी गई छुट्टी की अर्जी में कहा गया है कि उनके लिए ‘पेशेवर तरीके से फर्ज निभाना’ मुश्किल हो गया है।
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