जम्मू| प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को सेना के जवानों से कहा कि वह उनके लिए 130 करोड़ भारतीयों की शुभकामनाएं लेकर आए हैं। उन्होंने जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले में सैनिकों के साथ दिवाली मनाई। नौशेरा में ब्रिगेडियर उस्मान, नायक जदुनाथ सिंह, लेफ्टिनेंट आर.आर. राणे और अन्य शहीद सेना नायकों के प्रति सम्मान प्रकट करते हुए उन्होंने कहा, “आज का भारत आजादी के ‘अमृत काल’ में अपनी क्षमताओं और संसाधनों को लेकर सतर्क है।”
उन्होंने कहा कि लद्दाख से अरुणाचल प्रदेश तक, जैसलमेर से अंडमान निकोबार तक सीमावर्ती क्षेत्रों में कनेक्टिविटी आधुनिक बुनियादी ढांचे के साथ स्थापित की गई है, जिससे बुनियादी ढांचे और सैनिकों के लिए सुविधा में अभूतपूर्व सुधार हुआ है।
देश की रक्षा में महिलाओं की भागीदारी नई ऊंचाइयों को छू रही है।
“भारतीय सशस्त्र बल दुनिया के शीर्ष सशस्त्र बलों की तरह ही पेशेवर हैं, लेकिन इसके मानवीय मूल्य इसे विशिष्ट और असाधारण बनाते हैं।”
“हम राष्ट्र को सरकार, सत्ता या साम्राज्य के रूप में नहीं देखते हैं, हमारे लिए यह जीवित है, वर्तमान आत्मा है, इसकी रक्षा केवल भौगोलिक सीमाओं की रक्षा करने तक सीमित नहीं है।”
मोदी ने राजौरी जिले के नौशेरा सेक्टर में सैनिकों को संबोधित करते हुए कहा, “हमारे लिए राष्ट्रीय रक्षा का मतलब राष्ट्रीय जीवंतता, राष्ट्रीय एकता और राष्ट्रीय एकता की रक्षा करना है।”
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले वर्षो की तरह इस बार भी दिवाली सशस्त्र बलों के साथ मनाई।
प्रधानमंत्री ने कहा कि उनके लिए सशस्त्र बलों के साथ दिवाली मनाने में वही भावना है, जैसे अपने परिवार के साथ दिवाली मनाना। इसीलिए उन्होंने संवैधानिक पद संभालने के बाद अपनी सारी दिवाली सीमा पर सशस्त्र बलों के साथ मनाई है।
उन्होंने कहा कि वह अकेले नहीं आए हैं, बल्कि अपने साथ 130 करोड़ भारतीयों की शुभकामनाएं लेकर आए हैं। उन्होंने कहा, आज शाम प्रत्येक भारतवासी देश के बहादुर सैनिकों के प्रति सम्मान प्रकट करने के लिए एक ‘दीया’ जलाएगा।
उन्होंने कहा, “देश की सेवा करना देश के वीर पुत्रों और पुत्रियों द्वारा किया जाने वाला सौभाग्य है, जो हर किसी के लिए उपलब्ध नहीं है।”
नौशेरा से मोदी ने देशवासियों को दिवाली और आने वाले अन्य त्योहारों जैसे गोवर्धन पूजा, भैया दूज और छठ पूजा की बधाई दी। उन्होंने गुजराती लोगों को उनके नए साल की शुभकामनाएं भी दीं।
उन्होंने कहा कि नौशेरा का इतिहास भारत की बहादुरी का जश्न मनाता है और इसका वर्तमान सैनिकों की बहादुरी और दृढ़ संकल्प का प्रतीक है। क्षेत्र हमलावरों और अतिक्रमणकारियों के खिलाफ मजबूती से खड़ा रहा है।
उन्होंने मातृभूमि की रक्षा के लिए सर्वोच्च बलिदान देने वाले नौशेरा, ब्रिगेडियर मोहम्मद उस्मान और नायक जदुनाथ सिंह के वीरों को भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की।
उन्होंने लेफ्टिनेंट आर.आर. राणे और अन्य बहादुरों को सलाम किया, जिन्होंने वीरता और देशभक्ति की अभूतपूर्व मिसाल कायम की। प्रधानमंत्री ने बलदेव सिंह और बसंत सिंह का आशीर्वाद लेने के लिए अपनी भावनाओं का भी इजहार किया।
उन्होंने सर्जिकल स्ट्राइक में उनकी भूमिका के लिए वहां तैनात ब्रिगेड की भी प्रशंसा की। उन्होंने राहत के उस पल को याद किया, जब सभी बहादुर सैनिक स्ट्राइक के बाद सुरक्षित लौट आए थे।
प्रधानमंत्री ने कहा कि देश की आजादी की रक्षा की जिम्मेदारी सभी की है और आज का भारत आजादी के अमृत काल में अपनी क्षमताओं और संसाधनों को लेकर सतर्क है। उन्होंने विदेशों पर निर्भरता के पहले के समय के विपरीत रक्षा संसाधनों में ‘आत्मनिर्भर भारत’ की ओर बढ़ते कदम के बारे में भी बात की।
–आईएएनएस
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