नई दिल्ली : कांग्रेस ने मंगलवार को कहा कि एक आरटीआई (सूचना के अधिकार) से यह खुलासा हुआ है कि देश के वित्तीय राजधानी मुंबई में ही पिछले तीन सालों में 19,317 करोड़ रुपये का घोटाला हुआ है। इस मामले पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जवाब देना चाहिए। पार्टी ने कहा कि मोदी और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस की सरकारों ने आरोपियों को धोखा देने और भाग जाने के लिए एकतरफा टिकट दिया है।
कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा, “9 फरवरी, 2018 को आरटीआई के जरिए उपलब्ध चौंकाने वाली जानकारी से पता चलता है कि भाजपा सरकार की नाक के ठीक नीचे पिछले तीन सालों में अकेले भारत की आर्थिक राजधानी – (आर्थिक अपराध विंग) मुंबई में 19,317 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी और घोटालों की सूचना मिली है।”
आरटीआई में मिले जवाब के हवाले से सुरजेवाला ने कहा कि 2015 में घपले की रकम 5,560.66 करोड़ रुपये थी, 2016 में 4,273.87 करोड़ रुपये थी और 2017 में यह 9,838.66 करोड़ रुपये थी।
उन्होंने कहा कि मोदी के शासन में घोटालेबाजों का मंत्र है- लूटो, भागो और उड़ जाओ।
सुरजेवाला ने कहा, “हर दिन धोखाधड़ी, अपराध, बैंकों के साथ ठगी और धोखाधड़ी के मामले सामने आ रहे हैं, जबकि प्रधानमंत्री और वित्तमंत्री अरुण जेटली अनिश्चितकालीन ‘मौन व्रत’ पर हैं। सरकार दूसरे मंत्रियों से अनाप-शनाप बयान दिलवाकर पल्ला झाड़ने की कोशिश कर रही है।”
उन्होंने कहा कि धोखाधड़ी के मामलों में बैंक ऑफ बड़ौदा का फॉरेक्स घोटाला – 6,400 करोड़ रुपये, विजय माल्या का बैंक घोटाला – 9,000 करोड़ रुपये, आभूषण कारोबारी मेहुल चोकसी और नीरव मोदी द्वारा संयुक्त बैंक लूट – 22,606 करोड़ रुपये, मेहुल चोकसी जन धन लूट योजना – 5,000 करोड़ रुपये, रोटोमैक घोटाले में विक्रम कोठारी – 3,695 करोड़ रुपये, द्वारका दास ज्वेलर्स बैंक घोटाला – 390 करोड़ रुपये, केनरा बैंक घोटाला – 515 करोड़ रुपये और विनसम बैंक लूट घोटाला – 6,712 करोड़ रुपये को मिलाकर कुल 54,318 करोड़ रुपये का घोटाला सामने आया है। लेकिन सरकार जवाब देने के बजाय इस पर पर्दा डालने की कोशिशों में लगी हुई है, जिसका इन्हें कोई फायदा मिलने वाला नहीं है, क्योंकि देश और दुनिया समझ चुकी है कि सच्चाई क्या है।”
उन्होंने कहा, “इससे भी ज्यादा आश्चर्यजनक बात यह है कि इन घोटालों में 184 अभियुक्त बचे हुए हैं। यह वक्त की जरूरत है कि सरकार लोगों को बताए कि कितने धोखेबाज फरार हो चुके हैं और कितने गुपचुप भागने की तैयारी में हैं। नीरव मामले पर मोदी नीरव (मौन) क्यों हैं?”
–आईएएनएस
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