अमरावती: आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने शुक्रवार को कहा कि 2014 के आम चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के साथ गठबंधन करने से तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) को कुछ हासिल नहीं हुआ। पार्टी नेताओं के साथ यहां एक बैठक और पार्टी सांसदों के साथ नियमित टेलीकांफ्रेंस में नायडू ने राज्य को विशेष राज्य का दर्जा नहीं दिए जाने के बाद मोदी सरकार से नाता तोड़ने के बाद उत्पन्न स्थिति की समीक्षा की।
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने शुक्रवार को तेदेपा के दोनों केंद्रीय मंत्रियों पी.अशोक गजपति राजू और वाई.एस. चौधरी का इस्तीफा मंजूर कर लिया।
ऐसा कहा जा रहा है कि नायडू ने बैठक के दौरान इस ओर इशारा किया कि तेदेपा ने वर्ष 2014 में अकेले चुनाव लड़ने पर स्थानीय निकाय चुनाव में अच्छा प्रदर्शन किया था। उसके बाद हुए विधानसभा चुनाव और आम चुनाव में भाजपा से गठबंधन करने के बावजूद भी पार्टी को इतने ही प्रतिशत वोट मिले।
तेदेपा के सांसदों ने नायडू को सूचित किया कि संसद में कई पार्टियों ने तेदेपा के मोदी सरकार से अलग होने के निर्णय का समर्थन किया है।
कई मंत्रियों और नेताओं ने उनसे कहा कि राज्य की 98 प्रतिशत जनता राज्य द्वारा ‘समय पर और सही निर्णय’ लेने की प्रशंसा कर रही है।
नायडू ने राष्ट्रीय स्तर पर राजनीतिक प्रगति पर नजर रखने के लिए पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की टीम भी गठित की।
दिल्ली में तेदेपा के लोकसभा सदस्य जे.सी. दिवाकर. रेड्डी ने मीडिया से कहा कि तेदेपा का भाजपा के साथ ‘तलाक’ पूरा हो गया।
उन्होंने कहा, “जब पति और पत्नी अलग होते हैं, तो वे लोग अपने बच्चों के भविष्य को लेकर बात करते रहते हैं। यह उनकी जवाबदेही होती है। अब के बाद भाजपा के साथ हमारी बैठक कुछ ऐसी ही होंगी।”
–आईएएनएस
और भी हैं
एक्सिस माय इंडिया एग्जिट पोल में महाराष्ट्र में महायुति को बहुमत, एमवीए को झटका
देश में गठबंधन हो रहा मजबूत, रणनीति के तहत बदली उपचुनाव की तारीख : डिंपल यादव
झारखंड : एनडीए में सीट शेयरिंग पर बनी सहमति, जानिए भाजपा कितने सीटों पर लड़ेगी चुनाव