नई दिल्ली भारतीय टीम के पूर्व सलामी बल्लेबाज गौतम गंभीर को लगता है कि मौजूदा टीम में बड़े टूर्नामेंट्स में नॉकआउट दौरे में खेलने को लेकर विश्वास की कमी है। भारत ने आखिरी बार 2013 में आईसीसी चैम्पियंस ट्रॉफी जीती थी, लेकिन इसके बाद वो अभी तक कोई भी आईसीसी टूर्नामेंट नहीं जीत सकी। दो बार वह वनडे विश्व कप के सेमीफाइनल में भी पहुंची, लेकिन आगे नहीं जा पाई। 2017 में पाकिस्तान ने भारत को चैम्पियंस ट्रॉफी के फाइनल में हराया था।
गंभीर ने स्टार स्पोर्टस से शो पर कहा, “आपको आपकी टीम में अच्छे खिलाड़ी और बहुत अच्छे खिलाड़ी में जो चीज अलग करती है वो यह है कि आप मुश्किल समय में कैसा प्रदर्शन करते हो। मुझे लगता है कि हम दबाव झेल नहीं पाते और शायद दूसरी टीमें इससे अच्छे से निपट लेती हैं।”
उन्होंने कहा, “अगर आप सेमीफाइनल और फाइनल में देखेंगे तो पता चलेगा कि आप लीग दौर में तो अच्छा कर रहे थे लेकिन सेमीफाइनल और नॉकआउट में अच्छा नहीं कर रहे थे।”
गंभीर ने कहा, “हम इस बात को लेकर लगातार बातें कर सकते हैं कि हमारे पास सब है, हमारे पास विश्व चैम्पियन बनने की ताकत है, लेकिन जब तक आप मैदान पर जाते नहीं हो और साबित नहीं करते हो तो आप विश्व चैम्पियन नहीं कहला सकते। यह आपकी मुश्किल परिस्थिति में खेलने की काबिलियत पर निर्भर करता है। मैंने हमेशा कहा है कि द्विपक्षीय सीरीज और लीग दौर में आपके पास गलती करने का मौका होता है लेकिन नॉकआउट दौर में नहीं होता। वहां आपने गलती की और आप घर वापस जाते हो।”
–आईएएनएस
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